हमारा जन्म होते ही हम सभी अपने प्रारब्ध के चक्र से बंध जाते हैं और जन्मकुंडली हमारे इसी प्रारब्ध को प्रकट करती है हमारे जीवन में सभी घटनाएं नवग्रह द्वारा ही संचालित होती हैं। आज के समय में जहाँ आर्थिक असंतुलन हमारी चिंता का एक मुख्य कारण है
कई बार ऐसा होता है कि आप धन कमाते तो बहुत हैं लेकिन बचत नहीं हो पाती है। धनवान बनने के लिए धन कमाने के साथ ही धन बचाना भी जरूरी है। अगर घर में किसी प्रकार का वास्तुदोष हो तो भी धन संचय नहीं हो पाता है। वास्तुशास्त्र में कुछ ऐसे उपाए बताए गए हैं जिन्हें आजमाकर आप धन का संचय कर सकते हैं।